Posted inHealth Poem ममता ;करुणा की गाथा माँ रो देती है ,माँ हंस लेती है | न्योछावर ममता को कर देती है | गाथा अनोखी है ,संसार में तेरी | बहते आंशू ,आँखों के पोंछ लेती है… Posted by Monika Rodiya March 13, 2025
Posted inPoem थकान ;जीतने का उत्साह | थक सा गया हूँ ,रुक सा गया हूँ | एक पहर पे आकर ,डट सा गया हूँ | भूल हो जाती है ,हर बार कुछ करने पे | अब लगता… Posted by Monika Rodiya March 10, 2025
Posted inPoem नारी : वीरो की जननी नारी है तू ,ममता की बहती हुई नदी धारा है |धरती पे जन्म लेने वाले , वीरो की आशा है |नया रूप बदल लेती, हर नए मोड़ पे आकर खड़ी… Posted by Monika Rodiya March 8, 2025
Posted inPoem संवाद :अटूट बंधन पिता -पसीने की बून्द से सिचा परिवार है | पेट की भूख से बना सहारा है | मत कर भूल दूर होने की सांये से मेरे| कंधे पे बिठाकर दिखाया… Posted by Monika Rodiya March 6, 2025
Posted inPoem माँ दुलार है ,माँ संसार है | माँ दुलार है, माँ संसार है |माँ ममता की जीवंत मूर्त अपार है|डगमगाती नहीं दुःख के दौर में तनिक|माँ दुलार है, माँ संसार है|हर माँ होती बेहतर से बेहतर है… Posted by Monika Rodiya March 5, 2025
Posted inPoem विश्वास :एक अदम्य साहस विश्वास बना लो हार को जीत में बदलने का || मेहनत से घबराकर पीछे ,क्यों हटते हो | चार पल में कट जाएगी जिन्दगी ,डर के क्यों जीते हो |… Posted by Monika Rodiya March 3, 2025
Posted inPoem विश्वास की जीत :एक रहस्य विश्वास बना लो, हार को जीत में बदलने का || मेहनत से घबरा कर ,पीछे क्यूँ हटते हो | चार पल में कट जाएगी जिंदगी , डर के क्यों जीते… Posted by Monika Rodiya February 28, 2025
Posted inPoem सुपर हीरोज :माँ बाप का प्यार जीवन सुख दुख का मेला है || एक का दुख, दूसरे ने झेला है | जीवन जीने के लिए है ,साथी बनकर|| कभी गिरकर ,कभी संभलकर| बच्चे होते हैं, जीवन… Posted by Monika Rodiya February 28, 2025
Posted inPoem खुली हवाओ का पंछी :साहस मत कर भूल टूटकर भिखरने की ,जीवन सुन्दर फूलो का बगीचा है |हर बार खिलकर टूट जाने पर भी ,वापिस से नया रूप लेता है | हजारो की भीड़ में… Posted by Monika Rodiya February 28, 2025